नई दिल्ली: मेलबर्न में चल रहे बॉक्सिंग डे टेस्ट मैच ने तीसरे दिन ऐसा रोमांच पैदा किया, जिसे भारतीय क्रिकेट फैंस लंबे समय तक याद रखेंगे। पहले दो दिन ऑस्ट्रेलियाई टीम का दबदबा रहा, लेकिन तीसरे दिन भारतीय टीम के युवा खिलाड़ी नीतीश कुमार रेड्डी ने अपने दमदार खेल से मैच का रुख बदल दिया। जब भारतीय टीम संकट में थी, नीतीश ने वॉशिंगटन सुंदर के साथ 127 रनों की साझेदारी करते हुए टीम इंडिया को मजबूत स्थिति में पहुंचा दिया।
तीसरे दिन का खेल शुरू होते ही भारतीय टीम मुश्किल में नजर आई। टॉप ऑर्डर के बल्लेबाज सस्ते में आउट होते गए, और 191 रन पर छह विकेट गिर चुके थे। तब मैदान पर उतरे नीतीश रेड्डी ने आत्मविश्वास और संयम के साथ खेलते हुए टीम की डूबती नैया को संभाला। उनकी पारी में तकनीक और मानसिक मजबूती की झलक साफ नजर आई।
नीतीश ने शुरुआत में धीमी गति से रन बनाए लेकिन जैसे-जैसे पारी आगे बढ़ी, उन्होंने अपने शॉट्स का दायरा बढ़ाया। इस दौरान वॉशिंगटन सुंदर ने उनका बखूबी साथ दिया और 50 रन बनाए। यह साझेदारी भारत के लिए निर्णायक साबित हुई।
रेड्डी ने बनाया पहला टेस्ट शतक
नीतीश 99 रन पर बल्लेबाजी कर रहे थे, जब जसप्रीत बुमराह आउट हो गए। आखिरी बल्लेबाज मोहम्मद सिराज के साथ खेलते हुए उन्होंने धैर्य का परिचय दिया। सिराज ने पैट कमिंस की तीन गेंदें डिफेंड कीं, और इसके बाद नीतीश ने स्कॉट बोलैंड की गेंद पर शानदार चौका लगाकर अपना शतक पूरा किया। घुटनों पर बैठकर बल्ले को उठाते हुए उन्होंने इस ऐतिहासिक पल को अपने नाम किया।
धोनी का रिकॉर्ड टूटा
नीतीश रेड्डी के शतक ने भारतीय क्रिकेट के दिग्गज कप्तान महेंद्र सिंह धोनी का 16 साल पुराना रिकॉर्ड तोड़ दिया। धोनी ने 2008 में मोहाली टेस्ट में नंबर 8 पर बल्लेबाजी करते हुए 92 रन बनाए थे। नीतीश ने न सिर्फ यह रिकॉर्ड तोड़ा, बल्कि वह ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ नंबर 8 पर सबसे बड़ा स्कोर बनाने वाले दूसरे भारतीय बल्लेबाज बन गए।
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ नंबर 8 पर सबसे बड़े स्कोर:
117 – रिद्धिमान साहा (रांची, 2017)
105* – नीतीश कुमार रेड्डी (मेलबर्न, 2024)
92 – महेंद्र सिंह धोनी (मोहाली, 2008)
87 – अनिल कुंबले (एडिलेड, 2008)
सुंदर का अहम योगदान
वॉशिंगटन सुंदर ने भी अपनी भूमिका बखूबी निभाई। उन्होंने 50 रन बनाए और नीतीश के साथ साझेदारी कर टीम को फॉलोऑन से बचाया। सुंदर की पारी ने ऑस्ट्रेलियाई गेंदबाजों पर दबाव बनाया और टीम को आत्मविश्वास दिया।
चौथे दिन की उम्मीदें
तीसरे दिन का खेल खत्म होने तक नीतीश रेड्डी 105* रन पर नाबाद थे। मोहम्मद सिराज ने भी उनका साथ देते हुए धैर्य से खेल दिखाया। अब चौथे दिन भारतीय टीम की उम्मीदें नीतीश पर टिकी हैं। अगर वह रिद्धिमान साहा के 117 रनों के रिकॉर्ड को पीछे छोड़ते हैं, तो यह पारी उनके करियर के लिए एक बड़ा माइलस्टोन साबित होगी।