भारत में कई सारे कागजात जरूरी है । इन कागजातों का अलग अलग जगह पर काम होता है । उनमें से सबसे जरूरी है आधार कार्ड, आधार कार्ड एक ऐसा कागजात है जिसकी जरूरत बैंक में खाता खुलवाने से लेकर स्कूल में बच्चों का दाखिला तक में होता है । अगर बात की जाए पूरे देश की तो भारत के 90 प्रतिशत जनता के पास आधार कार्ड मौजूद है ।
लेकिन क्या आपको पता है कि आधार कार्ड सिर्फ आइडेंटिटी का प्रूफ है । ये आपके डेट ऑफ बर्थ या फिर नागरिकता का प्रमाण नहीं है । सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय द्वारा साल 2018 में एक ज्ञापन देकर इस बात को स्पष्ट किया गया था कि आधार कार्ड जन्मतिथि का प्रमाण पत्र नहीं है. यह सिर्फ एक पहचान और पते के प्रमाण पत्र के तौर पर इस्तेमाल किया जा सकता है.
सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय द्वारा साल 2018 में एक ज्ञापन देकर इस बात को स्पष्ट किया गया था कि आधार कार्ड जन्मतिथि का प्रमाण पत्र नहीं है। यह सिर्फ एक पहचान और पते के प्रमाण पत्र के तौर पर इस्तेमाल किया जा सकता है।
क्या है इसका कारण ?
असल में हमारे देश में बाहर से आने वाले लोगों की संख्या बहुत है और अक्सर ये बिना इजाजत के अवैध तरीके से घुसपैठ करते है । हमारे देश में सबसे ज्यादा बांग्लादेश से घुसपैठ की जाती है, उन लोगों के लिए आधार कार्ड बनाना सबसे आसान होता है । इस बात को देश की सरकार भी जानती है । इसलिए उन्होंने ये फैसला लिया है, जिसके तहत आप आधार कार्ड को सिर्फ पहचान पत्र के तौर पर दिखा सकते है । ये आपके जन्म की तारीख या नागरिकता का प्रमाण नहीं है ।